नई दिल्ली। 26 मार्च 2025 को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक बार फिर अपने बुलडोजर नीति और राज्य में कानून-व्यवस्था को लेकर चर्चा में आए। एएनआई के पॉडकास्ट में स्मिता प्रकाश के साथ बातचीत में योगी ने अपनी सरकार की बुलडोजर कार्रवाई का बचाव करते हुए कहा कि यह विकास का हिस्सा है और अपराधियों के खिलाफ सख्ती जरूरी है।
उन्होंने सवाल उठाया, “क्या मुझे उन लोगों की आरती करनी चाहिए जिन्होंने सरकारी संपत्ति पर अवैध कब्जा किया है? उत्तर प्रदेश के लोग अपराधियों और माफिया के खिलाफ कार्रवाई चाहते हैं।” योगी ने स्पष्ट किया कि उनकी सरकार किसी धर्म के आधार पर भेदभाव नहीं करती और कानून का शासन सबके लिए समान है। उन्होंने दावा किया कि 2017 से राज्य में कोई दंगा या कर्फ्यू नहीं लगा और सभी त्योहार शांतिपूर्वक मनाए गए।
कांग्रेस में औरंगजेब की आत्मा घुस गई
योगी ने विपक्ष, खासकर कांग्रेस पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि कांग्रेस में औरंगजेब की आत्मा घुस गई है और वह शरिया कानून लागू करना चाहती है। उन्होंने कांग्रेस के घोषणापत्र को मुस्लिम लीग का दस्तावेज करार दिया और आरोप लगाया कि यह पार्टी तालिबानी व्यवस्था लाना चाहती है, जिससे महिलाओं और लड़कियों की आजादी छिन जाएगी।
योगी ने हाल के मंदिर-मस्जिद विवादों पर भी टिप्पणी की
साथ ही, उन्होंने वक्फ बोर्ड पर भी निशाना साधा, इसे ‘जमीन माफियाओं का बोर्ड’ बताते हुए कहा कि सरकार ऐसी जमीनों की जांच कर रही है और जरूरी संशोधन कर रही है। योगी ने हाल के मंदिर-मस्जिद विवादों पर भी टिप्पणी की, खासकर संभल के शाही जामा मस्जिद मामले में, जहां हिंसा हुई थी। उन्होंने कहा कि भारत मुस्लिम लीग की मानसिकता से नहीं चलेगा और सनातन साक्ष्य अब सामने आ रहे हैं।
योगी ने तृणमूल कांग्रेस पर बोला हमला
इसके अलावा, योगी ने पश्चिम बंगाल की स्थिति का जिक्र करते हुए तृणमूल कांग्रेस पर हमला बोला और कहा कि वहां हिंसा आम है, जबकि उत्तर प्रदेश में चुनाव शांतिपूर्ण हुए। उन्होंने जोर देकर कहा कि देश संविधान से चलेगा, न कि शरिया से। अपनी हिंदुत्व छवि पर सवालों का जवाब देते हुए योगी ने कहा कि उनकी नीतियां राष्ट्र प्रथम की भावना पर आधारित हैं, न कि किसी धर्म विशेष पर। इस पॉडकास्ट ने एक बार फिर उनकी सख्त प्रशासनिक शैली और वैचारिक दृढ़ता को उजागर किया, जिससे राज्य और देश की सियासत में बहस तेज हो गई है।