राज ठाकरे पार्टी के कार्यकर्ताओं ने मराठी न बोलने पर बैंक कर्मचारी को पीटा, सोशल मीडिया पर जमकर रिएक्शन

नई दिल्ली। मुंबई में एक बार फिर मराठी भाषा को लेकर विवाद सुर्खियों में आया। राज ठाकरे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) के कार्यकर्ताओं ने एक बैंक कर्मचारी की पिटाई कर दी, क्योंकि उसने मराठी में बात करने से इनकार कर दिया था। यह घटना लोनावाला, पुणे जिले में महाराष्ट्र बैंक की शाखा में हुई। इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिसके बाद इस मामले ने तूल पकड़ लिया। वीडियो में दिख रहा है कि एमएनएस कार्यकर्ता बैंक मैनेजर से मराठी में बात करने की मांग कर रहे हैं और उसे थप्पड़ मारते हुए दिखाई दे रहे हैं।

यह घटना उस समय हुई जब कार्यकर्ता बैंक में मराठी भाषा के उपयोग को अनिवार्य करने की अपनी मांग को लेकर पहुंचे थे। वीडियो में एक कार्यकर्ता कहता है, “मराठी राज्य की आधिकारिक भाषा है। अगर आप मराठी नहीं बोल सकते, तो ग्राहकों के साथ लेन-देन कैसे होगा?” मैनेजर ने जवाब में कहा कि वह धीरे-धीरे मराठी सीख रहा है, लेकिन कार्यकर्ताओं ने उसकी बात नहीं सुनी और उसके साथ मारपीट शुरू कर दी। इस दौरान मैनेजर को माफी मांगते हुए भी देखा गया, लेकिन कार्यकर्ताओं का गुस्सा शांत नहीं हुआ।

राज ठाकरे ने मराठी को आधिकारिक भाषा बनाने की बात कही थी

एमएनएस की यह कार्रवाई हाल ही में राज ठाकरे के उस बयान के बाद आई है, जिसमें उन्होंने गुढ़ी पड़वा रैली में मराठी को आधिकारिक उद्देश्यों के लिए अनिवार्य करने की बात दोहराई थी। पार्टी लंबे समय से मराठी भाषा और “मराठी मानूस” के अधिकारों की वकालत करती रही है। इससे पहले भी एमएनएस कार्यकर्ता सुपरमार्केट कर्मचारियों, दुकानदारों और सिक्योरिटी गार्ड्स के साथ मराठी न बोलने को लेकर हिंसक झड़पों में शामिल हो चुके हैं।

सोशल मीडिया पर घटना को गुंडागर्दी करार दिया

इस घटना की व्यापक आलोचना हुई है। सोशल मीडिया पर लोगों ने इसे ‘गुंडागर्दी’ करार दिया और कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। हालांकि, एमएनएस ने अपने रुख का बचाव करते हुए कहा कि मराठी भाषा का सम्मान महाराष्ट्र में सुनिश्चित करना उनकी प्राथमिकता है। दूसरी ओर, बैंक अधिकारियों ने इस मामले पर अभी तक कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया है। पुलिस ने भी कोई शिकायत दर्ज होने की पुष्टि नहीं की है। यह घटना भारत में क्षेत्रीय भाषाओं को लेकर बढ़ते तनाव को दर्शाती है, जिसके व्यापक सामाजिक और राजनीतिक प्रभाव हो सकते हैं।

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