नई दिल्ली। भारतीय-अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) पर सवार उनके साथी चालक दल के सदस्य 16 बार नए साल का एक अनूठा जश्न मनाने के लिए तैयार हैं। एक्सपीडिशन 72 का दल पृथ्वी की परिक्रमा करते हुए 16 सूर्योदय और सूर्यास्त देखेगा, इस क्रम में वह 16 बार नए साल का स्वागत करती दिखेंगी।
सुनीता विलियम्स जून 2024 से अंतरिक्ष स्टेशन पर हैं। वह आईएसएस कमांडर के रूप में कार्यरत हैं। शुरुआत में बोइंग के स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान पर वह सिर्फ आठ दिन के मिशन पर पहुंची थी, लेकिन तकनीकी चुनौतियों ने उनके प्रवास को काफी बढ़ा दिया है। अब उनके मार्च 2025 तक अंतरिक्ष से लौटने की उम्मीद है।
As 2024 comes to a close today, the Exp 72 crew will see 16 sunrises and sunsets while soaring into the New Year. Seen here are several sunsets pictured over the years from the orbital outpost. pic.twitter.com/DdlvSCoKo1
— International Space Station (@Space_Station) December 31, 2024
आखिर सुनीता एक दिन में 16 बार नया साल कैसे मनाएंगी
दरअसल, इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन पृथ्वी से करीब 260 मील यानी करीब 418 किलोमीटर ऊपर है और हर समय करीब 17500 मील प्रति घंटे यानी 28160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से धरती के चारों तरफ घूमता है। इस दौरान इसकी स्पीड 5 मील प्रति सेकेंड यानी 8 किलोमीटर प्रति सेकेंड होती है। स्पेस स्टेशन की स्पीड इतनी होती है कि यह सिर्फ 90 मिनट में धरती का एक चक्कर पूरा कर लेता है। इस हिसाब से स्पेस स्टेशन एक दिन में 16 बार पृथ्वी का चक्कर लेता है। इस वजह से अंतरिक्ष स्टेशन में रहने वाले अंतरिक्ष यात्री एक दिन में 16 सूर्योदय और 16 सूर्यास्त देखते हैं। यही कारण है कि सुनीता विलियम्स और उनके साथी यात्री को यह अनुभव हासिल होगा।