नई दिल्ली। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने सोमवार को कोलकाता स्थित आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष को गिरफ्तार कर लिया। यहां पिछले महीने 31 वर्षीय प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ बलात्कार और हत्या को अंजाम दिया गया था।
अधिकारियों के अनुसार, घोष और तीन अन्य को आरजी कर अस्पताल में वित्तीय अनियमितताओं में कथित संलिप्तता के लिए केंद्रीय जांच एजेंसी ने गिरफ्तार किया। घोष के साथ गिरफ्तार किए गए तीन अन्य लोग बिप्लव सिंघा, सुमन हाजरा और अफसर अली खान थे। पूर्व प्रिंसिपल से दो सप्ताह से अधिक समय तक पूछताछ करने के बाद देर शाम उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। सीबीआई ने संदीप घोष का पॉलीग्राफी टेस्ट भी कराया।
सीबीआई ने कोलकाता पुलिस से जांच अपने हाथ में ली
आरजी कर मेडिकल कॉलेज में वित्तीय कदाचार के मामले में सीबीआई ने भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7 के साथ-साथ आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी और बेईमानी भी लगाई है। ये मामले संज्ञेय अपराध के अंतर्गत आते हैं और प्रकृति में गैर-जमानती हैं। कलकत्ता उच्च न्यायालय के निर्देश पर केंद्रीय जांच एजेंसी ने कोलकाता पुलिस की विशेष जांच टीम (एसआईटी) से जांच अपने हाथ में लेने के बाद प्राथमिकी दर्ज की थी।
घोष ने फरवरी 2021 से सितंबर 2023 तक आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के प्रिंसिपल के रूप में कार्य किया। अक्टूबर 2023 में स्थानांतरित होने के बावजूद, वह अप्रत्याशित रूप से एक महीने के भीतर अस्पताल में अपनी भूमिका में लौट आए।
संजय रॉय को किया गया था गिरफ्तार
वह उस दिन तक इस पद पर बने रहे जब अस्पताल के एक सेमिनार हॉल के अंदर प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ क्रूरतापूर्वक बलात्कार किया गया और उसकी हत्या कर दी गई। 9 अगस्त को उसका अर्धनग्न शव पाया गया, जिसके बाद देशव्यापी विरोध प्रदर्शन हुआ और पश्चिम बंगाल में हिंसा की शृंखला शुरू हो गई। कोलकाता पुलिस के एक नागरिक स्वयंसेवक संजय रॉय को क्रूर बलात्कार-हत्या के मामले में गिरफ्तार किया गया था।