नई दिल्ली। हाल ही में इंडिया टुडे में प्रकाशित एक लेख में विभिन्न प्रकार के दूध और उनके स्वास्थ्य लाभों पर चर्चा की गई है। यह लेख गाय, भैंस, और डेयरी विकल्पों जैसे सोया, बादाम और ओट मिल्क की तुलना करता है, साथ ही यह बताता है कि कौन सा दूध बच्चों, छोटे बच्चों, और स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए सबसे उपयुक्त हो सकता है। विशेषज्ञों के मत के आधार पर, यह लेख लोगों को उनकी जरूरतों के अनुसार सही विकल्प चुनने में मदद करता है।
लेख के अनुसार, गाय का दूध सबसे आम और व्यापक रूप से उपयोग किया जाने वाला दूध है। इसमें प्रोटीन, कैल्शियम, और विटामिन डी प्रचुर मात्रा में होता है, जो हड्डियों के विकास और समग्र स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है। यह बच्चों और वयस्कों दोनों के लिए अच्छा माना जाता है, लेकिन कुछ लोगों में लैक्टोज असहिष्णुता के कारण यह पचाने में मुश्किल हो सकता है।
भैंस के दूध में होता वसा और प्रोटीन
दूसरी ओर, भैंस का दूध वसा और प्रोटीन में अधिक समृद्ध होता है, जो इसे ऊर्जा का एक बेहतरीन स्रोत बनाता है। हालांकि, इसकी उच्च कैलोरी सामग्री के कारण वजन बढ़ाने की चिंता वाले लोगों के लिए यह कम उपयुक्त हो सकता है।
सोया दूध लैक्टोज मुक्त होते हैं
वहीं, डेयरी विकल्पों में सोया दूध को प्रोटीन का एक अच्छा पौधा-आधारित स्रोत माना जाता है। यह लैक्टोज-मुक्त होने के कारण उन लोगों के लिए बेहतर है जो डेयरी से परहेज करते हैं। बादाम दूध कम कैलोरी वाला विकल्प है और इसमें विटामिन ई होता है, लेकिन प्रोटीन की मात्रा कम होने के कारण यह पोषण के मामले में गाय के दूध से पीछे रह जाता है।
ओट मिल्क हाल के वर्षों में लोकप्रिय हुआ है, खासकर पर्यावरण के प्रति जागरूक लोगों के बीच, क्योंकि यह टिकाऊ और मलाईदार होता है। हालांकि, इसमें चीनी की मात्रा अधिक हो सकती है, जो इसे कम स्वास्थकर बना सकती है।
बच्चों के लिए गाय का दूध बेहतर
बच्चों और स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए एक्सपर्ट गाय के दूध को प्राथमिकता देते हैं, बशर्ते कोई एलर्जी न हो। छोटे बच्चों के लिए मां का दूध सबसे बेहतर माना जाता है, लेकिन पूरक के रूप में गाय का दूध उचित है। डेयरी विकल्पों को विशेषज्ञ व्यक्तिगत जरूरतों और स्वास्थ्य स्थितियों के आधार पर सुझाते हैं। अंततः, यह निर्णय जीवनशैली, पोषण संबंधी आवश्यकताओं और व्यक्तिगत पसंद पर निर्भर करता है।