नई दिल्ली। रेलवे यात्रियों के लिए एक बड़ी राहत की खबर आई, जब केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने घोषणा की कि अब रेलवे काउंटर से खरीदे गए टिकटों को ऑनलाइन रद्द किया जा सकता है। इस पहल से यात्रियों को स्टेशन पर लंबी कतारों में खड़े होने या टिकट रद्द करने के लिए दौड़भाग करने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
वैष्णव ने शुक्रवार को राज्यसभा में यह जानकारी दी, जब बीजेपी सांसद मेधा विश्राम कुलकर्णी ने पूछा कि क्या काउंटर से खरीदे गए वेटलिस्टेड टिकटों को रद्द करने के लिए स्टेशन जाना जरूरी है। इस कदम को भारतीय रेलवे की डिजिटल सेवाओं को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास माना जा रहा है।
रिफंड लेने के लिए यात्रियों को आरक्षण केंद्र पर जाना होगा
रेल मंत्री ने बताया कि यात्री अब भारतीय रेलवे खानपान और पर्यटन निगम (आईआरसीटीसी) की वेबसाइट या 139 नंबर पर कॉल करके अपने काउंटर टिकट को रद्द कर सकते हैं। हालांकि, रिफंड लेने के लिए यात्रियों को मूल टिकट के साथ आरक्षण केंद्र पर जाना होगा। यह सुविधा रेलवे यात्रियों (टिकट रद्द करने और किराया वापसी) नियम 2015 के तहत निर्धारित समय सीमा के भीतर उपलब्ध होगी।
सामान्य परिस्थितियों में, पुष्ट टिकटों को ट्रेन के निर्धारित प्रस्थान से चार घंटे पहले और आरएसी/वेटलिस्टेड टिकटों को 30 मिनट पहले तक रद्द किया जा सकता है। यह प्रक्रिया उन यात्रियों के लिए आसान होगी, जिनके पास बुकिंग के समय दर्ज वैध मोबाइल नंबर है।
IRCTC वेबसाइट पर PNR नंबर और ट्रेन नंबर दर्ज करना होगा
ऑनलाइन रद्द करने की प्रक्रिया में यात्री को आईआरसीटीसी वेबसाइट पर पीएनआर नंबर और ट्रेन नंबर दर्ज करना होगा। इसके बाद एक ओटीपी मोबाइल पर भेजा जाएगा, जिसे सत्यापित करने के बाद टिकट रद्द हो जाएगा और रिफंड की जानकारी स्क्रीन पर दिखाई देगी। रिफंड राशि लेने के लिए मूल टिकट जमा करना अनिवार्य होगा। वैष्णव ने कहा कि यह सुविधा यात्रियों के समय और परेशानी को कम करेगी, जो पहले काउंटर पर ही टिकट रद्द कर सकते थे।
सुविधा शुरू होने से रेलवे की सेवाएं और सुलभ
यह कदम भारतीय रेलवे के डिजिटलीकरण प्रयासों का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य यात्रियों को बेहतर अनुभव देना है। इससे पहले, ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा ने 80% से अधिक आरक्षित टिकटों को डिजिटल बना दिया था। अब काउंटर टिकटों के लिए भी यह सुविधा शुरू होने से रेलवे की सेवाएं और सुलभ हो गई हैं। हालांकि, ट्रेन के देरी होने या रद्द होने की स्थिति में यह सुविधा लागू नहीं होगी। इस घोषणा से लाखों यात्रियों को लाभ मिलने की उम्मीद है।