महाराष्ट्र के CM देवेंद्र फडणवीस ने कुणाल कामरा से माफी मांगने को कहा, शिंदे पर टिप्पणी को बताया अपमानजनक

नई दिल्ली। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने स्टैंड-अप कॉमेडियन कुणाल कामरा से उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर की गई टिप्पणी के लिए माफी मांगने को कहा है। फडणवीस ने स्पष्ट किया कि नेताओं का अपमान या मानहानि किसी भी रूप में बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

फडणवीस ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा, “हास्य में कोई बुराई नहीं है, लेकिन नेताओं का अपमान और मानहानि कतई स्वीकार्य नहीं है।” उन्होंने कामरा द्वारा एकनाथ शिंदे को ‘गद्दार’ कहे जाने को गलत बताते हुए इसे अनुचित करार दिया। फडणवीस ने कहा कि कामरा का यह प्रयास उनके डिप्टी का अपमान करने के लिए था, जो अस्वीकार्य है।

जनता ने चुनाव में जवाब दे दिया: फडणवीस

फडणवीस ने 2024 के महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों का जिक्र करते हुए कहा कि जनता ने साफ कर दिया है कि कौन गद्दार है और कौन नहीं। उन्होंने कहा, “जो लोग बालासाहेब ठाकरे की विचारधारा और जनादेश का अपमान कर रहे थे, उन्हें लोगों ने उनकी जगह दिखा दी है।” फडणवीस ने दोहराया कि किसी भी नेता के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करना संविधान और कानून का उल्लंघन है।

संविधान पढ़ा नहीं, बस दिखावा कर रहे हैं: फडणवीस

फडणवीस ने कामरा की सोशल मीडिया पोस्ट का भी जिक्र किया, जिसमें कॉमेडियन ने भारतीय संविधान की किताब का इस्तेमाल किया था। इस पर कटाक्ष करते हुए फडणवीस ने कहा, “कुणाल कामरा जिस संविधान की किताब को अपनी पोस्ट में दिखा रहे हैं, वही किताब राहुल गांधी ने भी दिखायी थी। दोनों में से किसी ने भी संविधान पढ़ा नहीं है।” मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर दूसरों की विचारधारा और स्वतंत्रता का अतिक्रमण करना सही नहीं है।

अजित पवार ने दी चेतावनी

महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने भी फडणवीस के बयान का समर्थन करते हुए कहा कि कोई भी व्यक्ति कानून और संविधान से ऊपर नहीं है। पवार ने कहा, “किसी को भी कानून, संविधान और नियमों से परे जाने का अधिकार नहीं है। मतभेद हो सकते हैं, लेकिन इसके लिए पुलिस को शामिल करने की नौबत नहीं आनी चाहिए।”

राजनीतिक हलचल तेज

कुणाल कामरा का बयान और उस पर फडणवीस की तीखी प्रतिक्रिया ने महाराष्ट्र की राजनीति में हलचल मचा दी है। इस मामले पर राज्य के राजनीतिक गलियारों में बहस तेज हो गई है। कामरा की टिप्पणी को लेकर बीजेपी समर्थक सोशल मीडिया पर कॉमेडियन की आलोचना कर रहे हैं, जबकि विपक्ष इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का मुद्दा बता रहा है।

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