पूर्व पीएम राजीव गांधी हत्या- पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के मामले में दोषी पाए गए टी सुथेंद्रराजा उर्फ संथान की बुधवार सुबह कार्डियक अरेस्ट मौत हो गई। संथान का राजीव गांधी अस्पताल में इलाज चल रहा था। दिवगंत दोषी टी संथान 55 साल के थे और जनवरी में लिवर फेलियर की वजह से संथान को अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
सुप्रीम कोर्ट ने रिहाई के दिए थे आदेश
गौरतलब है कि सजा काटने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने टी सुथेंद्रराजा उर्फ संथान की रिहाई के आदेश दिए थे। हालांकि, श्रीलंका निर्वासित करने के लिए संथान को अन्य रिहा दोषियों के साथ त्रिची स्पेशल कैंप में रखा गया था। बीते हफ्ते ही विदेश मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले फॉरेनर्स रीजनल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर ने 56 वर्षीय टी संथान के श्रीलंका निर्वासन के लिए आपात यात्रा दस्तावेजों को मंजूरी दी थी।
इससे पहले नवंबर में टी सुथेंद्रराजा उर्फ संथान ने भी त्रिची स्पेशल कैंप से रिहा करने की मांग की थी। टी संथान का आरोप था कि स्पेशल कैंप के कमरे में खिड़की भी बंद है और उन्हें अन्य लोगों से मिलने की भी आजादी नहीं है। संथान ने कहा कि इस स्पेशल कैंप से अच्छा तो मैं जेल में ही ठीक था।
राजीव गांधी की हत्या के मामले में काट चुके थे सजा
पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की साल 1991 में लिट्टे के आत्मघाती दस्ते द्वारा हत्या कर दी गई थी। पूर्व पीएम की हत्या में 7 लोग दोषी पाए गए थे जिनमें मुरुगन, नलिनी, एजी पेरारिवालन, संथान, जयकुमार, रॉबर्ट पायस और पी रविचंद्रन दोषी पाए गए थे। इन सभी को मौत की सजा दी गई थी, लेकिन बाद में इनकी सजा को उम्र कैद में बदल दिया गया था। इन दोषियों में संथान और मुरुगन के अलावा दो और रॉबर्ट पायस और जयकुमार श्रीलंका के निवासी हैं और सुप्रीम कोर्ट ने बीते साल ही रिहा करने का आदेश दिए थे।
अगले दिन ही नलिनी, श्रीहरन, संथन, रॉबर्ड पायस, जयकुमार और रविचंद्रन को 32 वर्ष के बाद जेल से रहा किया गया था, लेकिन उस दौरान कानूनी दांवपेंच नजर आए, जिसमें नलिनी और रविचंद्रन को अपने परिवार के पास मिलने की अनुमति दी गई। बाकी चारों को त्रीची सेंट्रल जेल के स्पेशल कैंप में रख दिया गया और ऐसा इसलिए किया गया क्योंकि ये चारों श्रीलंका के नागरिक थे।